नई ‎दिल्ली । राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (एनसीएलटी) ने गो फर्स्ट एयरलाइन के परिसमापन की मंजूरी दे दी। यह कंपनी पिछले कुछ सालों से वित्तीय मुश्किलों का सामना कर रही थी। इस निर्णय के बाद कंपनी गति से वित्तीय संकट से बाहर होगी। न्यायाधिकरण ने कहा कि कंपनी के 54 विमानों का पंजीकरण रद्द किया गया है। इसके चलते कंपनी का परिचालन ठप हो गया है। इस कदम से कर्जदाताओं को नुकसान हो सकता है। एयरलाइन ने मई 2023 में एनसीएलटी में दिवाला समाधान प्रक्रिया के लिए आवेदन किया था। अब उन्हें सम्भावित समाधान की दिशा में कदम बढ़ाना होगा। गो फर्स्ट के बंद होने से यात्री किसी अन्य विमानन सेवा का उपयोग कर सकते हैं। सुरक्षित रहने के लिए वे सही विकल्प की तलाश में निकलें। वित्तीय संकट कारगर उपायों से पूरी तरह से बाहर निकलने के लिए इस समय में कंपनी को सख्ती से अपनी योजनाएं बनानी होगी। यह भी महत्वपूर्ण है कि कर्जदाताओं के हितों का भी ध्यान रखा जाए।